Friday, March 27, 2015

चलो एक बार फिर इन जूतों को उतार दें

चलो एक बार फिर इन जूतों को उतार दें
ज़मीन से वो नाता फिर एक बार जोड़ लें,


वो कांटे जो चुभे थे पैरों में तब

न जाने क्यों, उनकी टीस बड़ी मीठी सी लगती है अब,


इन चमचमाते पैरों को चलो फिर से मिटटी से सवार लें,

चलो एक बार फिर इन जूतों को उतार दें